नमस्कार, मैं Anoop Chicham Foundation For Ecological Security Mandla में MIS ऑपरेटर, हूँ इसी तरह अपना सहयोग देते रहिये और हम आपके लिए नईं-नईं जानकारी उपलब्ध कराएंगे
बुधवार, 22 जुलाई 2020
हमारे देश में मजदूरों, कर्मचारियों के लिए यही व्यवस्था तो है
हमारे देश में मजदूरों, कर्मचारियों के लिए यही व्यवस्था तो है कि काम नहीं तो वेतन नहीं। सरकारें हों या निजी कंपनियां सभी में यही नियम लागू होते हैं, तो नेता अपने आपको इस दायरे से बाहर क्यों समझते हैं? यानी हंगामा चलता रहेगा, जनता का पैसा पानी में जाता रहेगा और नेताओं को शोर-शराबे तथा हंगामे के पैसे मिलते रहेंगे। पैसे की इस बंदरबांट के विरुद्ध उठने वाली आवाज को कुचला जाता रहेगा। भारतीय नेताओं के लिए शायद यही लोकतंत्र है!
सदस्यता लें
टिप्पणियाँ भेजें (Atom)
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें